मेरी ख़्वाहिशों के अंगारो पर वो बेज़ुबान झुलस गया ,
खुशियां मिली इंसान को, पर वो जानवर तड़प -तड़प के जल गया,
सच कहा किसी ने इंसान स्वार्थ के लिए वहशी दरिंदा बन गया |
Today Cartoon : मेरा घर…..

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मेरी ख़्वाहिशों के अंगारो पर वो बेज़ुबान झुलस गया ,
खुशियां मिली इंसान को, पर वो जानवर तड़प -तड़प के जल गया,
सच कहा किसी ने इंसान स्वार्थ के लिए वहशी दरिंदा बन गया |